Tirupati Laddu Controversy: अमूल देश की प्रमुख डेयरी कंपनियों में से एक है, ने हाल ही में एक गंभीर विवाद के बीच शिकायत दर्ज की है। कंपनी पर आरोप लगाया गया है कि उसने तिरुपति मंदिर में मिलावटी घी की सप्लाई की है, जबकि अमूल ने कभी भी इस मंदिर के लिए घी की आपूर्ति नहीं की। इस मामले में अमूल ने सोशल मीडिया पर स्पष्ट किया था कि उनका उत्पाद पूरी तरह से शुद्ध होता है और इसकी जांच के बाद ही ग्राहकों को सौंपा जाता है।
अमूल ने अहमदाबाद के साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई है, जिसमें कहा गया है कि कुछ सोशल मीडिया पोस्ट में दावा किया गया है कि मंदिर के लड्डू में अमूल का घी इस्तेमाल किया गया।
कंपनी ने आरोप लगाया है कि यह गलत सूचना उसके ब्रांड की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाने के इरादे से फैलायी गई है। जीसीएमएमएफ के प्रबंध निदेशक जयेन मेहता ने कहा कि कुछ लोग जानबूझकर अमूल को इस विवाद में घसीट रहे हैं, इसलिए शिकायत दर्ज कराई गई है।
3.6 मिलियन किसान अमूल के साथ कर रहे काम
मेहता ने बताया कि अमूल का स्वामित्व 3.6 मिलियन किसान परिवारों के पास है, और ऐसे झूठे आरोप उनकी आजीविका को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि अमूल का घी उच्चतम गुणवत्ता का है और कंपनी ने हमेशा उपभोक्ताओं को प्रीमियम उत्पाद प्रदान किए हैं।
मंदिर में घटिया सामाग्री का किया उपयोग
इस विवाद का एक और पहलू यह है कि 19 सितंबर को चंद्रबाबू नायडू ने आरोप लगाया था कि पूर्व वाईएसआरसीपी सरकार ने मंदिर में घटिया सामग्री का उपयोग किया। एक लैब रिपोर्ट ने इस दावे की पुष्टि करते हुए लड्डुओं में जानवरों की चर्बी की मौजूदगी की बात कही। विश्व हिंदू परिषद (विहिप) ने इसे गंभीर मुद्दा मानते हुए आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
अमूल ने एक बार फिर अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर स्पष्ट किया है कि उसने तिरुपति मंदिर को कभी घी की आपूर्ति नहीं की है और इस मुद्दे में उनकी कोई संलिप्तता नहीं है।
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