Mokama Murder Case: बिहार के मोकामा के चर्चित दुलारचंद यादव हत्याकांड में जेडीयू उम्मीदवार और पूर्व विधायक अनंत सिंह को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। यह गिरफ्तारी शनिवार, 1 नवंबर की देर रात पटना एसएसपी कार्तिकेय के. शर्मा के नेतृत्व में की गई, जब एक विशेष टीम ने बाढ़ स्थित कारगिल मार्केट से अनंत सिंह को हिरासत में लिया।
सूत्रों के अनुसार, पुलिस को यह जानकारी मिली थी कि हत्याकांड में नामजद होने के बाद अनंत सिंह जल्द ही आत्मसमर्पण कर सकते हैं। इसी सूचना के आधार पर पटना पुलिस ने कार्रवाई तेज कर दी और बाढ़ इलाके में दबिश दी। देर रात की इस कार्रवाई में पुलिस टीम ने अनंत सिंह को गिरफ्तार कर लिया। बताया जा रहा है कि उनके साथ दो अन्य सहयोगी — रंजीत और मणिकांत ठाकुर — को भी पकड़ा गया है।
एसएसपी कार्तिकेय के. शर्मा ने बताया कि तीनों आरोपियों ने सरेंडर नहीं किया, बल्कि उन्हें गिरफ्तार किया गया है। पुलिस अब इन सभी को अदालत में पेश करेगी और फिर रिमांड पर लेकर आगे की पूछताछ करेगी। साथ ही, इस केस में शामिल अन्य संदिग्धों की तलाश में लगातार छापेमारी जारी है।
CID को सौंपी गई जांच
चुनावी माहौल के बीच हुई इस वारदात ने बिहार की कानून व्यवस्था और चुनावी सुरक्षा पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। मामला संवेदनशील होने के कारण बिहार पुलिस की CID टीम को जांच की जिम्मेदारी दी गई है। वहीं, चुनाव आयोग ने भी इस घटना पर संज्ञान लेते हुए रिपोर्ट मांगी है और आवश्यक कार्रवाई शुरू कर दी है। अनंत सिंह की गिरफ्तारी ने बिहार की राजनीति में हलचल मचा दी है। मोकामा समेत आसपास के इलाकों में राजनीतिक तापमान अचानक बढ़ गया है। यह गिरफ्तारी ऐसे समय में हुई है जब बिहार विधानसभा चुनाव अपने चरम पर है।
क्या है दुलारचंद यादव मर्डर केस?
मामला मोकामा विधानसभा क्षेत्र का है, जहां गुरुवार को एनडीए प्रत्याशी अनंत सिंह और जनसुराज पार्टी के उम्मीदवार के समर्थकों के बीच हिंसक झड़प हो गई थी। यह झड़प इतनी गंभीर थी कि इसमें जनसुराज समर्थक दुलारचंद यादव की मौत हो गई। शुरुआती रिपोर्टों में दावा किया गया था कि यादव की मौत गोली लगने से हुई, लेकिन पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद यह स्पष्ट हुआ कि उनकी मौत किसी वाहन से कुचले जाने की वजह से हुई थी। इस खुलासे के बाद मामले ने नया मोड़ ले लिया और पुलिस ने जांच की दिशा बदल दी।
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